आईएमए (भारतीय चिकित्सा संघ, उत्तराखंड शाखा) ने योग गुरु बाबा रामदेव और पंतजलि के सीईओ आचार्य बालकृष्ण के खिलाफ देहरादून के कैंट थाने में तहरीर दी है। 10 पन्नों की तहरीर में आईएमए ने पंतजलि की कोरोनिल दवा पर सवाल उठाए हैं। इसे उन्होंने लोगों के जीवन को गंभीर संकट में डालने वाला उत्पाद बताया है। साथ ही इसके सापेक्ष प्रस्तुत किए गए रिसर्च पेपरों को भी उन्होंने जालसाजी से बनाए गए दस्तावेज बताए हैं। आईएमए ने डीजीपी अशोक कुमार को भी ज्ञापन सौंपा है।
दरअसल, पिछले माह योग गुरु बाबा रामदेव ने एलोपैथी चिकित्सा पद्धति पर सवाल उठाए थे। इसके बाद आईएमए और बाबा रामदेव के बीच जुबानी जंग भी हुई थी। कभी बाबा रामदेव की ओर से कोई बयान आया तो कभी आईएमए ने उनके खिलाफ कार्रवाई की बात कही। कोरोनिल को लेकर आईएमए ने पहले भी सवाल उठाए थे। अब इसी क्रम में बुधवार को देहरादून के कैंट थाने को तहरीर आईएमए के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. अरविंद शर्मा, सचिव डॉ. अजय खन्ना और कोषाध्यक्ष संजय उप्रेती की ओर से तहरीर दी गई है।
आरोप है कि बाबा रामदेव और आचार्य बालकृष्ण प्रभावशाली व्यक्ति हैं। उन्होंने इसी प्रभाव के चलते देश दुनिया को धोखे में रखा है। एक तरफ जहां अत्याधुनिक साइंस पिछले साल वायरस को समझने का प्रयास कर रही थी। वहीं बाबा रामदेव की पतंजलि ने महज दो-तीन माह के अंदर ही कोरोनिल दवा बनाने का दावा किया था। इसके सापेक्ष उन्होंने कई रिसर्च पेपर प्रस्तुत करने का दावा भी किया था।