देहरादून। मुख्यमंत्री आवास में गुरूवार को शहद निष्कासन कार्यक्रम का आयोजन किया गया। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी द्वारा शहद निष्कासन कार्यक्रम का अवलोकन किया गया। इस दौरान लगभग 25 किग्रा शहद निकाला गया। मुख्यमंत्री ने उद्यान विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिये कि मौनपालन को पायलट प्रोजक्ट की तरह लिया जाय। जनपद चम्पावत में हाईटेक मौनपालन प्रशिक्षण केन्द्र की स्थापना की जाय। मौनपालन की सम्भावनाओं के सम्बन्ध में पीपीटी के माध्यम से विस्तृत विवरण उपलब्ध कराया जाय। मुख्यमंत्री ने उद्यान प्रभारी दीपक पुरोहित को मुख्यमंत्री आवास परिसर व परिसर से बाहर खाली स्थानों पर मौनपालन हेतु उपयुक्त स्थान का चयन करने के निर्देश दिये गये। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि मुख्यमंत्री आवास परिसर को औद्यानिकी क्रियाकलापों का उत्कृष्ट मॉडल के रूप में विकसित किया जाए, ताकि आवास में आने वाले आगुन्तकों को औद्यानिकी से सम्बन्धित उन्नत तकनीकों की जानकारी प्राप्त हो सकें। निदेशक उद्यान डा. हरमिन्दर सिंह बवेजा के द्वारा अवगत कराया है कि मधुमक्खियों के द्वारा परपरागण से उत्पादन में वृद्धि के साथ-साथ मधुमक्खियों से शहद उत्पादन के अतिरिक्त रॉयल जेली, प्रोपोलिस, मधुमक्खी पराग, कंघी शहद, मधुमक्खी जहर आदि महत्वूपर्ण उत्पाद प्राप्त होते हैं। मधुमक्खियां जैव विविधता एवं पर्यावरणीय स्थिरता में भी सहयोग प्रदान करती है। मधुमक्खी पालन से ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार के सृजित होने से कास्तकारों को को अतिरिक्त आय प्राप्त होती है।