वनों एवं वन्य जीवों की सुरक्षा हमारा नैतिक दायित्व :मन्डलायुक्त

उत्तराखण्ड

नैनीताल- हरे भरे वन हमारी धरती के श्रंगार है और इन वनों मे रहने वाले वन्यजीव हमारी अमानत है। वनो की सुरक्षा के साथ ही वन्यजीवो की सुरक्षा भी हमारा नैतिक दायित्व होना चाहिए। यह विचार आयुक्त कुमायू मण्डल श्री राजीव रौतेला ने वन महकमे की ओर से आयोजित वन्यजीव संरक्षण सप्ताह का शुभारम्भ करते हुये व्यक्त किये। उन्होने कहा कि आज के भौतिकवादी युग मे हम अपने स्वार्थो के लिए वनो के दोहन के साथ ही वन्यजीवो का आखेट कर उनकी वेशकीमती खाल आदि बेच रहे है। जो कि चिन्ता का विषय है। उन्होने कहा कि मानव के विकास मे वनो एवं वन्यजीवो की अहम भूमिका है। हमे चाहिए कि हम वन्यजीवो की सुरक्षा एवं संरक्षण की दिशा मे अपने नैतिक दायित्यों का निर्वहन करें। श्री रौतेला ने कहा कि उत्तराखण्ड के वनो मे बेशुमार वन्यजीव है। जो कि हमारी अमुल्य धरोहर है।

वन्यजीव संरक्षण सप्ताह के अवसर पर आयोजित जनजागरूकता  रैली को आयुक्त श्री रौतेला, आईजी पूरन सिह रावत तथा मुख्य वन संरक्षक डा0 कपिल जोशी ने हरी झण्डी दिखाकर शुभारम्भ किया। इस अवसर पर दर्पण नाट्य समिति के कलाकारो द्वारा नुक्कड नाटक के जरिये पर्यावरण का संदेश दिया।

कार्यक्रम मे जिलाधिकारी विनोद कुमार सुमन,वन संरक्षक डा0 तेजस्वनी पाटिल, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक जन्मेजय खंडूरी,पर्यावरणविद डा0 अजय रावत, डीएफओ बिजूलाल टीआर के अलावा दिनकर तिवारी, प्रमोद तिवारी, ममता चंद, हीरासिह साही के अलावा बडी संख्या विभिन्न विद्यालयो के छात्र-छात्रायें मौजूद थे।

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