देहरादून । भाजपा प्रदेश अध्यक्ष श्री अजय भट्ट ने रॉफेल डील पर कांग्रेस के आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि कांग्रेस बार बार झूठ बोल कर भ्रम फैलाने की मशीन बन गई है । राफेल डील पर संसद में सारी बात स्पष्ट हो जाने व फ्रांस सरकार द्वारा श्री राहुल गांधी के झूठे बयान का खंडन करने के बाद इस मुद्दे को फिर उठाने से साफ है कि कांग्रेस अपना संतुलन खो बैठी है और वह प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी को बदनाम करने की साजिश में जुटी है ।उसे राष्ट्र के हितों व सम्मान की भी कोई चिंता नहीं हैं ।
आज भाजपा प्रदेश कार्यालय पर पत्रकारों से बातचीत में श्री अजय भट्ट ने कांग्रेस के आरोपों का क्रमवार उत्तर देते हुए कहा कि कांग्रेस का यह कहना कि वर्तमान सरकार ने अधिक राशि पर समझौता किया है पूरी तरह गलत है। सच यह है तत्कालीन रक्षा मंत्री श्री मनोहर पर्रिकर के प्रयासों से यह डील कांग्रेस सरकार के समय निर्धारित कीमत से 57 अरब 61 करोड़ रुपये कम हुई । कांग्रेस के समय इस डील की कीमत 1.20 लाख हजार करोड़ रुपये थी जबकि अब यह
59 हजार करोड़ रुपये है । साथ ही इस डील में कोई बिचौलिया नहीं है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी द्वारा किये गए प्रयासों व सुझावों के परिणाम स्वरूप यह डील दोनों देशों की सरकारों के बीच सीधे तौर पर हुई ।
श्री भट्ट ने कहा कि राफेल डील के बदले देश में निवेश की सीमा को बढ़ाया गया जिससे यह सौदा मेक इन इंडिया अभियान को भी गति देगा । जहाँ तक रिलांयस कम्पनी की भूमिका का सवाल है तो प्रथम तो यह कि रिलायंस को सरकार ने कोई काम नहीं दिया है अपितु राफेल लड़ाकू विमान बनाने वाली कंपनी डेसाल्ट ने रिलायंस के साथ संयुक्त रणनीतिक उपक्रम स्थापित करने की घोषणा की । इसके अंतर्गत ऑफसेट अनुबंध को पूरा करने में मदद मिलेगी जिससे छोटी बड़ी भारतीय कंपनियों को कम से कम तीन अरब यूरो का कारोबार मिलेगा व रोजगार के अवसर पैदा होंगे । साथ ही यह कहना भी गलत है कि रिलायंस को रक्षा उपकरणों के निर्माण का अनुभव नहीं है । रिलायंस अब भी कई बड़े रक्षा प्रोजेक्ट में काम कर रहा है।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस का यह आरोप भी सत्य से परे है कि इन्फ्लेशन का लाभ नहीं मिलेगा । जबकि श्री पर्रिकर के प्रयास से अधिकतम इन्फ्लेशन 3.5 प्रतिशत तय हुआ जो कांग्रेस के समय से .4 प्रतिशत कम है । साथ ही डील में 75 प्रतिशत फ्लीट हर समय ऑपरेशनल रखने, वारंटी की शर्त, डील के भारतीय रक्षा मानकों के अनुरूप होने आदि के प्रावधान शामिल हैं। इन विमानों के भारतीय वायुसेना में शामिल होने पर हमारी वायुसेना का एशिया महाद्वीप में कोई सानी नही रहेगा और इसमे लगे मिसाइलों से हवा से हवा में 150 कि. मी. मार की जा सकेगी । साथ ही संयुक्त उपक्रम होने से डील में टेक्नोलॉजी स्थानांतारण का भी प्रावधान है ।
श्री भट्ट ने कहा कि संसद में रक्षा मंत्री द्वारा इस मामले पर दिये गए बयान और फ्रांस के सरकारी बयान में श्री राहुल गांधी के बयान का खंडन किये जाने के बाद मामला से समाप्त हो जाना चाहिये था । लेकिन कांग्रेस द्वारा इस मामले को फिर उठाने से साफ है कि कांग्रेस बौखलाई हुई है और एक झूठ को सौ बार कह कर जनता में भ्रम फैलाने का प्रयास कर रही है । उन्होंने कांग्रेस के शासन काल में उस समय संसद में सीपीएम सांसद श्री सीता राम येचुरी व श्री भगीरथ मांझी द्वारा अलग अलग तारीखों पर पूछे गए प्रश्नों में जब इस डील का विवरण मांगा गया था तो उस समय रक्षा मंत्री श्री ए के ऐटनी ने संसद में लिखित उत्तर में कहा था कि देश हित से जुड़े होने के कारण रक्षा सौदे की जानकारी सदन में नहीं दी जा सकती। अब वही काँग्रेस इस मामले पर शोर मचा रही है। इससे साफ है की कांग्रेस को देश की सुरक्षा व राष्ट्रीय हितों की कोई चिंता नहीं है और वह केवल प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी को बदनाम करने की कोशिश कर रही है । लेकिन देश की जनता प्रधानमंत्री की ईमानदारी व कांग्रेस के चरित्र को जानती है।
उन्होंने कांग्रेस द्वारा इस संबंध में आंदोलन चलाने के बारे में कहा कि भाजपा भी इसका उत्तर देगी क्योकि झूठ के पैर नहीं होते।
इस अवसर पर भाजपा प्रदेश मीडिया प्रमुख डॉ देवेंद्र भसीन, सह प्रमुख श्री शादाब शम्स व श्री बलजीत सोनी, प्रदेश कार्यालय सचिव श्री पुष्कर काला श्रीमती मधु भट्ट व अन्य नेता उपस्थित थे ।